Rajasthan New Border: राजस्थान सरकार ने सोमवार यानि 30 दिसंबर को अधिसूचना जारी करते हुए बताया कि अब प्रदेश में केवल 41 जिले और 7 संभाग रहेंगे। अशोक गहलोत सरकार द्वारा पिछले साल बनाएं गए 17 जिलों में से 9 जिलों को रद्द करने का फैसला किया गया है। साथ ही इनमें से कुल 8 जिलों को पहले जैसा ही रखा गया है। इस संबंध में सरकार ने पुनर्गठन के लिए अधिसूचना जारी कर जानकारी दी। इस अधिसूचना के मुताबिक अब राजस्थान 41 जिले और 7 संभाग वाला प्रदेश बन गया है। इसके अलावा सरकार ने इन जिलों का स्वरूप भी तय किया है।
बनाएं गए हैं ये नए जिले
इस बात की जानकारी कैबिनेट बैठक के बाद हुई CMO में चल रही मंत्रिपरिषद की बैठक में मिली। सरकार की ओर से जारी नोटिस में बताया गया है कि तिजारा, सलूम्बर, बालोतरा, कोटपूतली बहरोड़, खैरतल जिले समेत 8 जिलों को यथावत रखा जाएंगा। साथ ही जयपुर ग्रामीण, जोधपुर ग्रामीण, सांचौर जिले, दूदू, केकड़ी, शाहपुरा, अनूपगढ़, गंगापुरसिटी व नीमकाथाना को हटाने का आदेश जारी किया गया है।
जानकारी के लिए बता दें कि काफी लंबे समय से प्रदेश में 26 जिले थे। जिसके बाद 7 नए जिलों का निर्माण किया गया थी लेकिन पिछली गहलोत सरकार ने अपने कार्यकाल के दौरान 17 नए जिलों और 3 प्रमंडलों के निर्माण का निर्णय किया था। दरअसल इन जिलों का ऐलान आचार संहिता की घोषणा से ठीक पहले किया गया था जो व्यवहारिक नहीं है। इसके अलावा इन जिलों का जनसंख्या आधार भी सही नहीं था।
पुनर्गठन प्रशासनिक व्यवस्थाओं पर पड़ेगा असर
राजस्थान सरकार के इस फैसले से पुनर्गठन प्रशासनिक व्यवस्थाओं पर असर पढ़ने की उम्मीद है। इस मामले को लेकर राज्य के नागरिकों व राजनीतिक दलों की मिली-जुली प्रतिक्रियाएं देखने को मिल रही हैं। आने वालें दिनों में पता चलगेगा कि सरकार का यह फैसला प्रदेश के लिए कितना प्रभावशाली साबित होता है।










