8 News District Council: राजस्थान में अब 41 जिलों में पूरी तरह से ज़िला परिषदें बन गई हैं। राज्य सरकार ने आठ नए जिलों में पहली बार ज़िला परिषदें बनाकर इसे पूरा किया है। इससे सभी जिलों में पंचायत राज व्यवस्था और चुनाव प्रक्रिया में पूरी तरह से तालमेल होगा।
राज्य सरकार की ओर से जारी एक नोटिफिकेशन के अनुसार, डीग, बालोतरा, ब्यावर, डीडवाना-कुचामन, फलौदी, खैरथल-तिजारा, कोटपुतली-बहरोड़ और सलूंबर को नई ज़िला परिषदें मिली हैं। यह कदम पंचायत चुनावों से ठीक पहले उठाया गया ताकि नए जिलों में चुनाव आसानी से हो सकें।
इस आदेश को लागू करते हुए, ग्रामीण विकास और पंचायत राज विभाग ने कहा कि पुराने जिलों की परिषदों को भी फिर से संगठित किया गया है। इससे नई ज़िला परिषदों में ऑपरेशनल और एडमिनिस्ट्रेटिव प्रक्रियाओं का रास्ता साफ हो गया है। नई और फिर से संगठित ज़िला परिषदों के साथ, पूरे राज्य में पंचायत राज का ढांचा बदलने वाला है। इससे ज़िला लेवल पर प्लानिंग की रफ़्तार तेज़ होगी और ग्रामीण इलाकों में विकास के कामों और योजनाओं की बेहतर मॉनिटरिंग हो सकेगी।
नोटिफिकेशन में साफ किया गया है कि 33 मौजूदा जिलों में आठ नए जिलों की काउंसिल जुड़ने से अब कुल जिला काउंसिल की संख्या 41 हो गई है। इससे यह पक्का होगा कि सभी जिलों में पंचायत चुनाव की सभी तैयारियां पूरी तरह से लागू हो जाएं।
राज्य के 41 जिलों की लिस्ट में श्रीगंगानगर, धौलपुर, बीकानेर, चूरू, हनुमानगढ़, करौली, सवाई माधोपुर, जैसलमेर, पाली, दौसा, जयपुर, सिरोही, झुंझुनू, सीकर, बूंदी, बारां, झालावाड़, कोटा, बांसवाड़ा, चित्तौड़गढ़, डूंगरपुर, राजसमंद, बाड़मेर, जालौर, भरतपुर, जोधपुर, अलवर, प्रतापगढ़, अजमेर, भीलवाड़ा, नागौर, टोंक, उदयपुर, और डीग, बालोतरा, डीडवाना, फलौदी, सलूंबर, खैरथल-तिजारा, कोटपुतली-बहरोड़, और ब्यावर के नए जिले शामिल हैं।
इस फैसले से राजस्थान में पंचायत चुनाव प्रोसेस और जिला प्रशासन दोनों मजबूत होंगे। अब हर जिले में लोकल डेवलपमेंट प्रोजेक्ट्स में पब्लिक की भागीदारी और मॉनिटरिंग आसान हो जाएगी। इसे ग्रामीण विकास और स्कीम्स के असर में एक बड़ा बदलाव माना जा रहा है।







