Jhalawar Government Scheme Scam: राजस्थान के झालावाड़ जिले से एक बड़ा मामला सामने आया है। यहां से सरकारी योजनाओं में जबरदस्त तरीके से घोटाला किया जा रहा था, तहसीलदार की आईडी से फर्जी आदेश निकल जा रहे थे और फिर बड़ा घोटाला किया जा रहा था। इसकी जानकारी जैसे ही पुलिस को लगी, पुलिस ने इस फर्जीवाड़ी का खुलासा किया और मामले में सात आरोपी को गिरफ्तार कर लिया है।
जारी कर रहे थे नकली प्रमाण पत्र
झालावाड़ पुलिस का ऑपरेशन शटर डाउन में यह खुलासा किया गया है, जिसमें रीडर कंप्यूटर ऑपरेटर और ईमित्र संचालकों की मिली भगत से ऐसे लोगों को भी पेंशन और दिव्यांग प्रमाण पत्र जारी किए जा रहे थे, जो कि इसके लिए अपात्र थे। लेकिन वह पैसे की लालच में उन लोगों को भी यह इस योजना का लाभ दे रहे थे। लेकिन अब पुलिस में इसका भंडाफोड़ कर दिया है और सात आरोपी को मामले में गिरफ्तार भी कर लिया है।
बताते चलें कि विभिन्न सामाजिक योजनाओं में पात्र लोगों को फर्जी तरीके से पेंशन और सहायता राशि मुहैया कराने के अपराध में झालावाड़ पुलिस ने पिछले करीब सवा महीने में 47 लोगों को गिरफ्तार कर चुकी है और ऐसे लाभार्थियों के खाते भी फ्रिज करवा रही है, जो गलत तरीके से सरकारी योजनाओं का लाभ उठा रहे हैं।
आपदा प्रबंधन मुआवजा में भी ठगी
एसपी ने इसको लेकर बताया कि सामाजिक सुरक्षा योजना के तहत 40 फ़ीसदी दिव्यांग पात्र व्यक्ति को विशेष पेंशन दी जाती है, लेकिन इसके लिए यह अनिवार्य है कि उसे चिकित्सा विभाग से प्रमाणित दिव्यांग प्रमाण पत्र प्राप्त हो, इसके लिए ई मित्र से आवेदन किया जाता है। तब जाकर सीएमएचओ की अधिकृत आईडी से प्रमाण पत्र जारी होता है। लेकिन मिली भगत से ऐसे लोगों को भी या प्रमाण पत्र जारी करवाया गया, जो कि पूरी तरह से स्वस्थ है। इन योजनाओं के अलावा फसल खराब मुआवजा के लिए भी आपदा प्रबंधन सूचना प्रणाली पोर्टल में फर्जीवाड़ा किया गया। इस मामले में भी पुलिस ने आरोपी को गिफ्तार कर लिया है।










