Rajasthan Government Yojana: जलवायु परिवर्तन आज विश्व के समक्ष सबसे बड़ी चुनौतियों में से एक है। इसके दुष्प्रभाव जल, थल और नभ के माध्यम से न केवल मानव जीवन बल्कि संपूर्ण जैव विविधता और अर्थव्यवस्थाओं को भी प्रभावित कर रहे हैं। ऐसे समय में हरित विकास को प्राथमिकता देना एक अपरिहार्य आवश्यकता बन गई है। इसी को ध्यान में रखते हुए सीएम भजनलाल ने ऐसे दूरदर्शी कदम उठाए हैं, जो गेम चेंजर साबित हो रहे हैं। 

पर्यावरण संरक्षण के दिशा में कदम

भजनलाल सरकार ने इस साल जो ग्रीन बजट की घोषणा की, उसमें राजस्थान सर्कुलर इकोनॉमी इंसेंटिव स्कीम-2025 को यूज एण्ड डिस्पोज की प्रवृत्ति से निकालकर रिड्यूस, रियूज, रिसाइकल आधारित अर्थव्यवस्था की ओर ले जाने का प्रयास है। इस योजना का उद्देश्य वेस्ट टु वेल्थ यानी अपशिष्ट को संसाधन के रूप में विकसित करना है, जिससे पर्यावरण संरक्षण के साथ-साथ रोजगार और निवेश के नए अवसर सृजित हो सकें।

इन योजनाओं में किसे किया गया शामिल

इस योजना के अंतर्गत रिसाइक्लिंग, वेस्ट प्रोसेसिंग, प्लास्टिक, ई-वेस्ट, टेक्सटाइल, वाहन स्क्रैपिंग, पुनर्चक्रण जैसे क्षेत्रों में निवेश करने वाले उद्योगों को आकर्षक वित्तीय प्रोत्साहन प्रदान किया जाएगा। इसके अतिरिक्त स्टार्टअप्स और एमएसएमई द्वारा विकसित क्लीन-टेक, ग्रीन-टेक, ऊर्जा दक्षता, नवीकरणीय ऊर्जा आधारित उत्पादन, रिपेयर-रिफर्बिश और रिसोर्स रिकवरी से जुड़ी नवाचार परियोजनाएं भी इस योजना में शामिल की गई हैं। 

प्रदूषण नियंत्रण को मिलेगी मजबूती

कम्पोस्टिंग, बायोगैस प्लांट, एफ्लुएंट ट्रीटमेंट, वेस्ट वाटर ट्रीटमेंट, वेस्ट टु एनर्जी आदि से जुड़ी नवाचार आधारित मशीनरी और टेक्नोलॉजी के निर्माण की इकाइयों को भी इस योजना का फायदा मिलेगा। वेस्ट टू वेल्थ पार्क (सर्कुलैरिटी पार्क) से अपशिष्ट प्रबंधन को संगठित स्वरूप मिलेगा और स्थानीय स्तर पर रोजगार के अवसर बढ़ेंगे। सर्कुलर इकोनॉमी मॉडल के माध्यम से प्राकृतिक संसाधनों पर दबाव कम होगा, कार्बन उत्सर्जन एवं ग्रीनहाउस गैसों में कमी आएगी तथा प्रदूषण नियंत्रण को मजबूती मिलेगी। 

सौर ऊर्जा पर विशेष ध्यान

ग्रीन ऊर्जा को बढ़ावा देने हेतु सभी सरकारी कार्यालयों एवं पीएचईडी पंपिंग स्टेशनों को सौर ऊर्जा से जोड़ने, सोलर दीदी कैडर, निःशुल्क इंडक्शन कुकटॉप, बैटरी चलित सार्वजनिक परिवहन तथा ग्रीन ऑडिट आदि से जुड़ी घोषणाएं भी इसमें की गई। इसके साथ ही वाहन स्क्रैप नीति, प्रत्येक पंचायत में बर्तन बैंक, क्लीन एण्ड ग्रीन टेक्नोलॉजी डवलपमेंट सेंटर, ग्रीन चैलेंज फण्ड और ग्रीन क्रेडिट मैकेनिज्म जैसी नवाचारपूर्ण योजनाएं भी ग्रीन बजट का महत्वपूर्ण हिस्सा हैं। 

मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा के नेतृत्व में राजस्थान सरकार की सर्कुलर इकोनॉमी इंसेंटिव स्कीम और राज्य का पहला ग्रीन बजट न केवल पर्यावरण संरक्षण बल्कि आर्थिक विकास, रोजगार सृजन और सतत भविष्य की दिशा में मील का पत्थर सिद्ध होंगे। ये पहल राजस्थान को हरित, स्वच्छ और सतत विकासशील राज्य के रूप में राष्ट्रीय एवं वैश्विक मंच पर स्थापित करने की दिशा में निर्णायक कदम हैं।